बांदा, 31 मई 2022
तंबाकू मनुष्य के शरीर को अन्दर से खोखला कर देता है तथा कैंसर का मुख्य कारण है। तंबाकू का प्रयोग लोग बीडी, सिगरेट, पान मसाला, गुटखा, हुक्का तथा अन्य तरीकों से करते हैं। इससे अनेक प्रकार की बीमारियां फैल रही हैं। यह बातें विश्व तम्बाकू निषेध दिवस पर मंगलवार को जिला पुरूष अस्पताल में मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डा. एसएन मिश्रा ने कहीं।
डा. मिश्रा ने कहा कि तंबाकू का सेवन हानिकारक होने के साथ जानलेवा भी है। आज की युवा पीढ़ी तंबाकू के खतरों के बारे में जागरूक नहीं है। इसी जागरूकता अभियान के लिए विश्व तंबाकू निषेध दिवस मनाया जाता है। उन्होंने कहा कि आंकड़ों के अनुसार पूरी दुनिया में हर साल लगभग 70 लाख लोग और भारत में हर दिन लगभग 2740 लोग तंबाकू व अन्य धूम्रपान उत्पादों के कारण कैंसर और दूसरी बीमारियों से दम तोड़ देते हैं। सीएमएस ने अस्पताल स्टाफ, मरीज व तीमारदारों को तंबाकू का सेवन न करने की शपथ दिलाई। हस्ताक्षर अभियान चलाया गया।
साइक्लॉजिस्ट डा. एलके यादव ने कहा कि शरीर का कोई ऐसा अंग नहीं है जो तंबाकू के सेवन से प्रभावित न होता हो। प्रजापिता ब्रह्मकुमारी ने अस्पताल में आने वाले मरीजों को तंबाकू के सेवन से होने वाले नुकसान बारे बताते हुए इसका सेवन न करने के लिए जागरूक किया।
स्वराज कालोनी स्थित जन शिक्षण संस्थान में निदेशक सलीम अख्तर ने कहा कि तंबाकू के सेवन से मानसिक स्वास्थ्य पर प्रभाव पड़ता है, नपुंसकता आ सकती है। इससे न केवल हृदय रोग बल्कि टीबी, कैंसर, लकवा, द्रष्टिहीनता जैसे गंभीर रोग हो जाते हैं। जन शिक्षण संस्थान की अनुदेशिका फरजाना खान ने बताया कि सिगरेट एवं अन्य तंबाकू उत्पाद अधिनियम (कोटपा) 2003 के तहत दंड व जुर्माना का प्रावधान है। कोटपा की धारा 4 के तहत सार्वजनिक स्थानों (होटल, रेलवे स्टेशन, बस स्टेंड, कार्यालय, विद्यालय, महाविद्यालय, पार्क आदि सभी सार्वजनिक स्थानों) पर सिगरेट, बीडी या किसी अन्य ढंग से धूम्रपान पर प्रतिबंध है। धारा 5 के तहत तंबाकू उत्पादों पर प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष ढंग से बोर्ड, टीवी, पंपलेट, स्टीकर होर्डिंग इत्यादि का विज्ञापन कराना कानूनन अपराध है। इसको अमल में लाने की जरूरत है। इस मौके पर संस्था के कार्यक्रम अधिकारी सौम्य खरे, मयंक पांडे आदि मौजूद रहे।
Crime 24 Hours से मितेश कुमार की रिपोर्ट