लखनऊ,
उत्तर प्रदेश सरकार ने साधारण मिट्टी के खनन के लिए चल रही दोहरी व्यवस्था को खत्म कर दिया है। अब 100 घन मीटर तक मिट्टी खनन व परिवहन के लिए भी आनलाइन आवेदन करके लाइसेंस लेना होगा। अभी तक केवल विभागीय वेबसाइट पर आनलाइन पंजीकरण को ही परिवहन परमिट मान लिया जाता था, जबकि 100 घन मीटर से अधिक के खनन व परिवहन के लिए आनलाइन आवेदन कर लाइसेंस जारी किए जाते थे।
भूतत्व एवं खनिकर्म विभाग की सचिव व निदेशक डाo रोशन जैकब ने बताया कि 100 घन मीटर तक और इससे अधिक साधारण मिट्टी के खनन/परिवहन के लिए अब तक अलग-अलग प्रक्रिया थी। 100 घन मीटर से कम मिट्टी के खनन की प्रक्रिया आसान होने के कारण इसका दुरुपयोग हो रहा था। जिसको रोकने तथा एकरूपता लाने के लिए साधारण मिट्टी के परिवहन के लिए अब लाइसेंस लेना होगा। उन्होंने बताया कि आनलाइन आवेदन के साथ आवेदक का नाम व पता, मोबाइल नंबर, ई-मेल आइडी, पहचान पत्र, आवेदित भूमि की खतौनी, आवेदित क्षेत्र को प्रदर्शित करते हुए खसरा मानचित्र, आवेदन शुल्क, काश्तकार का सहमति पत्र तथा अन्य आवश्यक अभिलेख अपलोड करने होंगे। आनलाइन आवेदन पत्र की जांच के बाद जिलाधिकारी उसे स्वीकृत या अस्वीकृत करेंगे स्वीकृत आवेदन करने वालों को आनलाइन लाइसेंस जारी किए जाएंगे।